Friday, November 22, 2024
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JCC J : कांग्रेस और भाजपा के ‘बागियों’ के लिए जोगी कांग्रेस बनी ‘पनाहगाह’!

Chhattisgarh Politics : छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव (JCC J) की उल्टी-गिनती शुरू हो चुकी है। प्रदेश की दोनों प्रमुख राष्ट्रीय पार्टी कांग्रेस और बीजेपी सभी 90 सीटों पर अपना प्रत्याशी उतार चुके हैं। वहीं अन्य दलों से प्रत्याशी घोषित करने का सिलसिला जारी है। कांग्रेस छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल की सरकार बचाने के लिए लड़ रही है तो बीजेपी वापसी के लिए।

हालांकि, चुनाव में जनता के बीच जाने से पहले ही पार्टियों को भीतर ही भीतर भी लड़ना पड़ता है। वो भी टिकट बंटवारे को लेकर। टिकट नहीं मिलने पर पार्टी के खिलाफ बगावत करना राजनीति में नया नहीं है, जिसे टिकट नहीं मिलता, उनमें से बहुत से ऐसे होते हैं जो या तो पार्टी ही छोड़ देते हैं या फिर पाला बदल लेते हैं और कुछ निर्दलीय ही चुनाव में उतार जाते हैं।

छत्तीसगढ़ में भी इन दिनों ऐसा ही हाल है। बीजेपी और कांग्रेस में प्रत्याशियों की घोषणा के बाद ही असंतोष की लहर फूट पड़ी थी। दोनों ही पार्टियों में अंसतुष्ट नेताओं की लंबी फहरिस्त है। हालांकि कांग्रेस में इनकी संख्या कुछ ज्यादा है। इसकी वजह वर्तमान 22 विधायकों का टिकट काटना। इसके बाद नेताओं की बगावत शुरू हो गई है। भाजपा और कांग्रेस के बागी नेताओं के लिए छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम स्व अजीत जाेगी की पार्टी जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे (जेसीसी जे) ऐसे लोगों के लिए पनाहगार साबित हो रही।

जोगी कांग्रेस (JCC J) में शामिल होने वाले नेताओं की बात करें तो महासमुंद जिले के सरायपाली विधानसभा के विधायक किस्मत लाल नंद कांग्रेस छोड़कर जोगी कांग्रेस में शामिल हो गए। पार्टी ने उन्हें सरायपाली सीट पर उम्मीदवार भी घोषित कर दिया है। किस्मत लाल नंद ने बताया कि 2018 में उन्होंने डीएसपी की नौकरी छोड़कर कांग्रेस से चुनाव लड़ा। तब भाजपा प्रत्याशी को 52000 वोटों से हराया था। 

इसके पहले बिलासपुर जिले की मस्तूरी विधानसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी डॉ. कृष्णमूर्ति बांधी की खिलाफ बगावत करते हुए जिला पंचायत सदस्य चांदनी भारद्वाज ने पार्टी छोड़कर जोगी कांग्रेस का दामन थामन लिया हैं। बता दें कि चांदनी भारद्वाज जांजगीर चांपा के पूर्व लोकसभा सांसद कमला देवी पाटले की बेटी हैं। जोगी कांग्रेस (JCC J) ने उन्हें मस्तुरी विधानसभा से प्रत्याशी भी घोषित कर दिया।

फिर बालोद जिले के गुंडरदेही विधानसभा क्षेत्र के पूर्व विधायक राजेंद्र कुमार राय बीजेपी से इस्तीफा देकर दूसरी बार जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जोगी) पार्टी में शामिल हो गए हैं। आरके राय भी पुलिस विभाग में डीएसपी की नौकरी छोड़कर राजनीति में आए थे। आरके राय पूर्व सीएम स्व अजीत जोगी के करीबी माने जाते थे। 2013 में इन्होंने पुलिस की नौकरी छोड़ कांग्रेस ज्वाइन कर ली। पार्टी ने इन्हें प्रत्याशी बनाया। जीत भी गए। जब 2018 में जोगी ने नई पार्टी का गठन किया तो उनके साथ चले गए। फिर जोगी के निधन के बाद भाजपा ज्वाइन कर ली। अब दोबारा जेसीसी (JCC J) में शामिल हो गए।

इधर, जोगी कांग्रेस के बलौदाबाजार विधायक प्रमोद शर्मा कांग्रेस में शामिल हो गए। पूर्व सीएम अजीत जोगी के निधन के बाद प्रमोद शर्मा ने अमित जोगी के साथ मतभेदों के चलते जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ पार्टी से इस्तीफा दे दिया था। तब से उनके कांग्रेस में शामिल होने की अटकले लग रही थी। आखिरकार आज उन्होंने कांग्रेस का हाथ थाम लिया। जेसीसीजे ने विधायक धरमजीत सिंह और विधायक प्रमोद शर्मा को पार्टी ने निलंबित कर दिया था।