बिजनौर। उत्तर प्रदेश के बिजनौर में ‘सट्टे का नंबर बताने’ वाले पुजारी की हत्या केस में अहम खुलासा हुआ है. पुजारी की हत्या जीशान ने की थी. जीशान ने पुजारी को करीब 72 हजार रुपये दिए थे, ताकि उसे सट्टे का लकी नंबर बता सके. पुजारी ने नंबर भी बताया, लेकिन वह नंबर नहीं निकला. इसके बाद जीशान ने पुजारी की हत्या कर दी. बिजनौर के नांगल में 12 दिसंबर को महाकाली मंदिर के पुजारी की हुई हत्या का पुलिस ने खुलासा कर दिया है. पुजारी की हत्या बिजनौर शहर के मोहल्ला मछली बाजार निवासी जीशान ने डंडों से पीटकर की थी. मंदिर का पुजारी रामदास गिरी लोगों को सट्टे का लकी नंबर बताता था.
पुजारी को दिया था मोबाइल और कैश : सट्टे का लकी नंबर लेने के लिए ही जीशान ने बाबा रामदास गिरी को ₹21000 का एक नया मोबाइल और ₹51000 नगद दिए थे, ताकि बाबा उसे सट्टे का लकी नंबर बता सके लेकिन बाबा द्वारा बताए गए नंबर के बाद भी उसका लकी नंबर नहीं लगा. इसी बात से नाराज होकर जीशान ने दोपहर में पुजारी को फोन किया और दोनों की बहस भी हुई. इसके बाद नाराज होकर जीशान ने मंदिर पर पहुंचकर बाबा से झगड़ा किया और उसके ऊपर डंडों से हमला कर दिया, जिससे पुजारी की मौत हो गई. पुलिस ने सर्विलांस के आधार पर जीशान का नंबर लिसनिंग पर लेकर जिसान को मंडावर वाले चौराहे से गिरफ्तार कर लिया. जीशान ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि वह बाबा के चक्कर में कम से कम 5 लाख रुपये का नुकसान उठा चुका है और बाबा उसको सट्टे का लकी नंबर बताने का झांसा देता था और उसकी आड़ में मोबाइल और नगद रुपया भी ले चुका था. पुलिस ने जीशान को हत्या में प्रयुक्त डंडे सहित गिरफ्तार कर लिया है और उसको जेल भेज रहे हैं.