रायपुर। छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में शुक्रवार को एक कोरोना संक्रमित मरीज की हुई मौत के बाद वीरभद्र नगर स्थित मारवाड़ी श्मशान घाट में उसका अंतिम संस्कार किया गया। हालांकि कोविड 19 संक्रमित के शव को जलाने के लिए जिला व पुलिस प्रशासन को 4 घंटे तक मशक्कत करनी पड़ी। क्षेत्र के लोग संक्रमण फैलने के अंदेशे से दूसरे जगह शव को जलाने की मांग कर रहे थे। जिला प्रशासन के अधिकारियों का कहना था कि इलेक्ट्रॉनिक शवदाह से किसी तरह का संक्रमण नहीं फैलेगा। लेकिन स्थानीय लोग इसका पुरजोर विरोध कर रहे हैं। बीते दिनों देवेंद्र नगर इलाके का एक व्यक्ति कोरोना संक्रमित मिला था, उसे इलाज के लिए एम्स में भर्ती किया गया था। जहां उसकी गुरूवार को मौत हो गई थी। शुक्रवार को जब उसके शव को लेकर आने की खबर इलाके के लोगों को हुई तो मौके पर पहुंच गए और शव को अन्यत्र जलाने की मांग कर हंगामा करने लगे। भारी संख्या में महिलाएं भी वहां आ पहुंची और विरोध प्रदर्शन करने लगी। किसी तरह प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों के मशक्कत के बाद जब शव वाहन पहुंचा तो स्थानीय लोगों ने शव जलाने वाले कर्मचारी को बंधक बना लिया। प्रशासनिक अधिकारी समझाते रहे कि कोरोना संक्रमित के शव को अंतिम संस्कार इलेक्ट्रिक चिमनी के जरिये किया जाएगा, लेकिन स्थानीय लोगों ने यहां शव को अंतिम संस्कार नहीं करने देने की जिद पर अड़ गए। श्मसान के बाहर महिलाएं जमा हो गई, जिन्हें हटाने की कोशिश में महिला पुलिसकर्मियों के साथ पुलिस बल लगानी पड़ी। लोगों को समझाइश देने और स्थिति पर नियंत्रण पाने के लिए मौके पर भारी संख्या में पुलिस बल मौजूद थे। वहीं अपर आयुक्त पुलक भट्टाचार्य के साथ शहर के दो सीएसपी देवचरण पटेल और नसर सिद्दीकी दोनों मौजूद थे। लगभग 4 घंटे की समझाइश के बाद कोविड प्रोटोकोल के तहत ही कोरोना मृतक का शवदाह किया गया।