Gratuity Hike : सरकार ने केंद्रीय सरकारी कर्मचारियों के लिए सेवानिवृत्ति ग्रेच्युटी और मृत्यु ग्रेच्युटी (Gratuity Limit) की अधिकतम सीमा 20 लाख रुपये से बढ़ाकर 25 लाख रुपये करने की शनिवार को घोषणा की।
कार्मिक, लोक शिकायत एवं पेंशन मंत्रालय की अधिसूचना में कहा गया है कि सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों पर सरकार के निर्णय के अनुसार, महंगाई भत्ते की दर 50 प्रतिशत तक पहुंचने पर सेवानिवृत्ति ग्रेच्युटी और मृत्यु ग्रेच्युटी की अधिकतम सीमा 25 प्रतिशत बढ़ाकर 20 लाख रुपये से 25 लाख रुपये कर दी जाएगी।
इसी के तहत ग्रेच्युटी (Gratuity Limit) की अधिकतम सीमा 20 लाख रुपये से बढ़ाकर 25 लाख रुपये की है। सरकार ने एक जनवरी से महंगाई भत्ते की दर को मूल वेतन के मौजूदा 46 प्रतिशत से बढ़ाकर 50 प्रतिशत करने के संबंध में निर्देश जारी किए थे। यह वृद्धि एक जनवरी 2024 से प्रभावी होगी।
उल्लेखनीय है कि सेवानिवृत्ति ग्रेच्युटी और मृत्यु ग्रेच्युटी कर्मचारी द्वारा अंतिम बार प्राप्त मूल वेतन और उसके द्वारा दी गई सेवा की अवधि पर निर्भर करती है।
कब मिलती है ग्रेच्युटी : ग्रेच्युटी किसी कंपनी के लंबे समय तक काम करने वाले कर्मचारी को दिया जाने वाला इनाम है। यह सैलरी, पेंशन और भविष्य निधि (PF) के अतिरिक्त दिया जाता है। कोई भी कर्मचारी ग्रेच्युटी का हकदार तभी होता है, जब उसने कंपनी में कम से कम पांच साल तक काम किया हो।
सरकार ने हाल में बढ़ाया था DA : 7 मार्च को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने केंद्र सरकार के कर्मचारियों को महंगाई भत्ते (DA) की एक अतिरिक्त किस्त जारी करने की मंजूरी दे दी। पेंशनर्स के लिए महंगाई राहत (DR) को भी मंजूरी दी गई। बेसिक सैलरी या पेंशन के 46 प्रतिशत की मौजूदा दर से 4 प्रतिशत की यह बढ़ोतरी कीमतों में बढ़ोतरी की भरपाई के लिए है।
डीए में बढ़ोतरी के साथ अन्य भत्ते जैसे ट्रांसपोर्ट अलाउंस, कैंटीन अलाउंस और डेप्युटेशन अलाउंस में भी 25 फीसदी की बढ़ोतरी की गई। डीए और डीआर दोनों बढ़ोतरी से सरकारी खजाने पर संयुक्त प्रभाव 12,868.72 करोड़ रुपये सालाना होगा। इस फैसले से केंद्र सरकार के करीब 49.18 लाख कर्मचारियों और 67.95 लाख पेंशनर्स को फायदा होगा। ग्रेच्युटी और भत्तों में बढ़ोतरी का उद्देश्य फाइनेंशियल सुरक्षा प्रदान करना और जीवनयापन की बढ़ती लागत को ध्यान में रखना है।